पटना: रेलवे का उपक्रम मिनीरत्न कंपनी आईआरसीटीसी के पास देशभर में फिलहाल रेल नीर के 7 प्लांट्स हैं. सबसे पहले सन 2003 में नागलोई में तो दूसरा सन 2004 में खगौल के दानापुर में रेलनीर का प्लांट स्थापित किया गया. जिसका उद्देश्य ट्रेनों और स्टेशनों पर शुद्ध पेय जल की आपूर्ति करना है. दानापुर का यह प्लांट 10 करोड़ की लागत से बनाया गया है. अभी आउटसोर्स वर्कर को नौकरी से निकाले जाने के विरोध में रेलनीर दानापुर में ताला जड़ दिया है.
रेलनीर दानापुर प्लांट के कर्मचारियों के आंदोलन का कारण
इसमें काम करने वाले कर्मचारियों ने 3 दिसम्बर 2017 से हड़ताल कर दिया है. वो इतने गुस्सा में हैं कि पहले से उत्पादित पानी का भी सप्लाई नहीं होने दे रहें हैं. लगभग पिछले एक महीने से प्लांट के छत पर सीटू का लाल झंडा के साथ ही यूनियन के बैनर इस बात का गवाह बना हुआ है कि यहां के वर्कर एकजुट हो चुके हैं. जानकारी के अनुसार अभी तक काम बंद है. इसके वजह जानकर हैरान रह जायेंगे.
इस प्लांट में लगभग 80 वर्कर पिछले 10-12 साल से लगातार काम कर रहें हैं. जिनको खुद आईआरसीटीसी ने नियुक्त किया है, मगर पेपर पर आउटसोर्स वर्कर दिखा रखा है. हर साल, दो साल पर ठेकेदार को बदल दिया जाता था मगर वर्कर लगातार काम कर रहे हैं. अभी तक ये आईआरसीटीसी के निगरानी में ही काम कर रहे थे, मगर पीपीपी के कारण प्लांट को ठेकेदार को दे दिया गया.
अभी जो नया ठेकेदार आया, उसने शर्त रख दी कि वह 80 में से मात्र 30 वर्कर से ही काम चला लेगा. अब ऐसे में 50 वर्करों की नौकरी जानी तय थी. मगर सभी ने एकता दिखाते हुए मिलकर पुरजोर विरोध किया. सभी वर्करों ने मिलकर काम ही नहीं बंद किया बल्कि बना हुआ पैक रेलनीर का बोतल प्लांट से सप्लाई होने से भी रोक दिया. जिसके बाद आईआरसीटीसी मैनेजमेंट की कोई भी तिकड़म काम न आई.
उनको पीछे हटकर वर्करों के यूनियन से बात करना पड़ा. जिसके बाद फैसला हुआ कि किसी भी हाल में एक भी वर्कर नौकरी से नहीं निकला जाना चाहिए. जिसको मैनेजमेंट ने मानते हुए पुराना टेंडर कैंसिल किया. जानकारी के अनुसार अब नया टेंडर जारी किया गया है और उम्मीद है कि सभी वर्करों के साथ जल्द ही काम शुरू होगा. इस तरह से सभी ने सूझबूझ से अपने साथियों की नौकरी बचा ली.
आईआरसीटीसी के कर्मचारी नेता सुरजीत श्यामल ने इसको कर्मचारियों के एकता की जीत बताकर सभी को बधाई दी है. उन्होंने सभी कर्मचारियों से एकता बनाये रखने और शांतिपूर्ण तरीके से सीटू नेता राजकुमार चौधरी के दिशा-निर्देश में आंदोलन को गति देते हुए यूनियन को मजबूत करने की अपील की है.
Share this
यदि आपके पास वर्कर से सम्बंधित हिंदी में कोई जानकारी, लेख या प्रेरणादायक संघर्ष की कहानी है जो आप हम सभी के साथ share करना चाहते हैं तो कृपया उसे तुरंत ही email करें – [email protected]
WorkerVoice.in को सुचारु रूप से चलाने के लिए नीचे Pay बटन पर क्लिक कर आर्थिक मदद करें .