तेज बहादुर ने अपने बर्खास्तगी को दी हाईकोर्ट में चुनौती, सरकार को नोटिस

नई दिल्ली: पिछले साल शोशल मिडिया पर एक वीडियो बहुत ही तेजी से वायरल हो गया था. वह वीडियो बीएसएफ के जवान तेज बहादुर का था. जिन्होंने बीएसएफ के जवानो के खराब खाना का मुद्दा उठाया था. जिसके बाद उनको नौकरी से बर्खास्त कर दिया गया. श्री तेज बहादुर ने अपनी बर्खास्तगी को चुनौती देते हुए पंजाब-हरियाणा हाईकोर्ट का दरवाजा खटखटाया है.

माननीय हाईकोर्ट ने सख्त टिप्पणी करते हुए कहा कि ये तो भारी गलती है कि कोई रोटी मांगे तो क्या उसकी नौकरी छीन लेंगे. हाईकोर्ट ने केंद्रीय गृह मंत्रालय और बीएसएफ के डायरेक्टर जनरल यानी डीजी को नोटिस जारी कर 28 मई तक जवाब मांगा है.

पिछले साल जनवरी 2017 में शोसल मिडिया में बीएसएफ के जवान तेज बहादुर का वीडियो वायरल हुआ था. जिसमें उन्होंने आरोप लगाया था कि सरकार तो सारी सुविधाएं देती है, मगर अधिकारी उसको बेच देते हैं. जवान लोग बर्फ के बीच दिन रात डियूटी करते हैं मगर उसके बदले उनको भरपेट खाना भी नहीं दिया जाता है.

उन्होंने यह तक कहा कि हो सकता है इस वीडियों के सामने आते ही मेरे साथ कुछ भी हो सकता है. यह भी हो सकता कि कल वो नहीं रहें. मगर सरकार को इसकी जांच करनी चाहिए. उन्होंने इस वीडियों को ज्यादा से ज्यादा शेयर करने की अपील की थी. इसके बाद ही यह वीडियो वायरल हो गया.

इस वीडियो को लेकर काफी हंगामा हुआ. जिसके बाद श्री यादव पर जांच बैठायी गई और उनको अनुशासनहीनता के आरोप में नौकरी से बर्खास्त कर दिया गया. जानकारी के अनुसार तेजबहादुर 2032 में रिटायर होने वाले थे, लेकिन विवाद के बाद वीआरएस लेने की अर्जी दी.
इसके बारे में कोर्ट ने तेज बहादुर के वकील ने कहा कि मेरे मुअक्किल से जबरन वीआरएस कैंसिल करने के फैसले पर साइन करवा लिए गए. जिसके बाद 19 अप्रैल को दि समरी सिक्योरिटी फोर्स कोर्ट ने उसे नौकरी से बर्खास्त करने का फैसला सुनाया. इसी फैसले को तेज बहादुर ने हाईकोर्ट में चुनौती दी है. मामले में अगली सुनवाई 28 मई को होगी.
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