UPNL workers uttarakhand ने काला बिल्ला लगा वेतन वृद्धि की मांग की

UPNL workers uttarakhand ने काला बिल्ला लगा हाईकोर्ट के आदेश को लागू करने की मांग की है. सुशीला तिवारी राजकीय मेडिकल कॉलेज हल्द्वानी के आंदोलित कर्मचारियों ने राज्य सरकार से सुरक्षित भविष्य एवं समान वेतन समान कार्य व्यवस्था जल्द लागू करने की मांग की है.

UPNL workers uttarakhand ने काला बिल्ला लगाया?

अभी कोरोना के कारण पूरा देश आर्थिक संकट से जूझ रहा है. इसमें अगर सबसे ज्यादा बुरा हुआ तो आम आदमी और रोज कमाने रोज खाने वाले मजदूर कर्मचारियों का. इसके साथ ही लोग सरकार के निर्देशानुसार Essential Services जैसे हॉस्पिटल आदि में काम कर रहे. उनको भी वेतन आदि की मांग के लिए आंदोलन करना पड़े तो शर्म की बात है.

सुशीला तिवारी राजकीय मेडिकल कॉलेज हल्द्वानी में कर्मचारियों ने काला बिल्ला लगाया

आज सुशीला तिवारी राजकीय मेडिकल कॉलेज हल्द्वानी में उपनल के कर्मचारियों ने काला फीता लगाकर ड्यूटी करने का फैसला लिया. उनका आरोप है कि राज्य सरकार द्वारा UPNL कर्मचारियों की जायज मांगें हमेशा से अनदेखी की जा रही है. अभी जबकि देश में पेट्रोल, डीजल, गैस सिलेंडर से लेकर खाने-पीने के सामानों का दाम बढ़ गया है. जबकि उनको रेगुलर कर्मचारी के बराबर काम करने के वावजूद मात्र 8,500 से 10,700 रुपया मासिक In-hand Salary सैलरी दी जाती है. जबकि एक 8वी पास सरकारी चपराशी की भी सैलरी 25 से 30 हजार तक है.

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जहाँ एक ओर उपनल के कर्मचारी प्रदेश को कोरोना महामारी से बचाने के लिए लगातार रात-दिन अपनी सेवाएं दे रहे हैं फिर भी राज्य सरकार द्वारा उनकी मांगों को अनदेखी की जा रही.

सन्दीप भोटिया, प्रदेश सलाहकार, (ट्रेड यूनियन) उत्तराखंड उपनल संविदा कर्मचारी संघ ने कहा कि उपनल कर्मचारियों की जायज मांगो को देखते हुए राज्य सरकार उनकी मांगो को जल्द पूरा करे एवं उच्च न्यायालय के फैसले को तत्काल सुरक्षित भविष्य के साथ समान वेतन समान कार्य व्यवस्था जल्द लागू करे.

उपनल आउटसोर्स कर्मचारियों को नियमित करने का आदेश

आपकी जानकारी के लिए बता दें कि माननीय नैनीताल हाईकोर्ट ने उपनल आउटसोर्स कर्मचारियों को 1 वर्ष में नियमित करने और उन्हें न्यूनतम वेतनमान देने का आदेश पारित किया था. श्री कुंदन सिंह नेगी ने हाईकोर्ट के मुख्य न्यायाधीश को पत्र भेजकर उपनल द्वारा की जा रही नियुक्तियों पर रोक लगाने की मांग की थी. हाईकोर्ट ने इसका संज्ञान लेते हुए इसे जनहित याचिका के रूप में स्वीकार कर यह फैसला दिया. जिसको प्रदेश सरकार द्वारा लागू करने के वजाय सुप्रीम कोर्ट में चुनौती दिया गया हैं.

हाईकोर्ट द्वारा UPNL आउटसोर्स कर्मचारियों को परमानेंट करने के आदेश का ताजा अपडेट? Live With Sandip

अभी फिलहाल यह मैटर सुप्रीम कोर्ट में पेंडिंग हैं. इस बारे में कल ही हमने सन्दीप भोटिया जी से बातचीत की है. जिसको हमारे यूट्यूब चैनल WorkerVoice.in पर देख सकते हैं. इसमें हमने न केवल इस केस की वर्त्तमान स्थिति की चर्चा की है बल्कि यह भी सन्देश देना चाहा है कि सभी यूनियन/ संघों को एक साथ आकर हाईकोर्ट के फैसले को लागू करवाने की मांग करनी चाहिए. अगर आप एक हो गए तो आपकी जीत सुनिश्चित है.

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